सबसे मुख्य बात यह जरूरी है कि वाहन का रखरखाव सुनिश्चित किया जाए और उनको अपडेट रखा जाए व सुरक्षा मानक का पालन अवश्य हो। बस स्टॉप, मेट्रो स्टेशन, बस और ट्रेन में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएं। आपातकालीन स्थिति में मदद के लिए बटन लगाए जाएं, जो सीधे आपातकालीन सेवाओं से जुड़े हुए हो। हवा व पर्याप्त रोशनी की व्यवस्था हो। सुरक्षा कर्मी तैनात किया जाए। सूचना प्रणाली भी दुरुस्त होनी चाहिए ताकि यात्री को उसकी यात्रा की जानकारी मिलती रहे वह अपने आप को सुरक्षित महसूस करें। वाहन चालक पूर्ण रूप से प्रशिक्षित होना चाहिए। निर्धारित सीटों के अतिरिक्त टिकट न दिए जाएं ताकि बस व ट्रेनों में भीड़भाड़ न हो और लोग परेशान न हों, भगदड़ न मचे यात्रियों को खड़ा न रहना पड़े आराम से सीट पर बैठ कर अपनी यात्रा पूरी कर सके। – लता अग्रवाल चित्तौड़गढ़
सार्वजनिक परिवहन क्षेत्रों में सुरक्षा के लिए गहन सुधार और रक्षात्मक तकनीकी अपनाने के साथ सीसीटीवी कैमरों से निगरानी बढ़ाने और महिलाओं के अकेले में यात्रा के करने के दौरान इमरजेंसी कॉल करने और मदद की आवश्यकता होने पर तत्काल सहायता मिल सके लूटपाट की घटनाएं न हो इसके विशेष प्रबन्ध पर भी ध्यान देने की आवश्यकता है। – हरिप्रसाद चौरसिया, देवास, (मध्यप्रदेश)
सार्वजनिक परिवहन के साधनों की नियमित सर्विसिंग एवं फिटनेस जांच अनिवार्य रूप से की जानी चाहिए। साथ ही सीसीटीवी कैमरों एवं जीपीएस ट्रैकिंग सिस्टम के माध्यम से यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित की जानी चाहिए। सार्वजनिक परिवहन के साधनों में आपातकालीन निकास द्वार, अग्निशामक यंत्र तथा पैनिक बटन जैसी सुविधाएं उपलब्ध करवाई जानी चाहिए। रात्रिकालीन साधनों में महिलाओं की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए महिला सुरक्षाकर्मियों की तैनाती भी होनी चाहिए। – सर्वजीत अरोड़ा, जयपुर