कांवड़ियों का आरोप – पुलिस ने रोका डीजे, एक घायल
कांवड़ियों का कहना है कि नखासा थाना क्षेत्र के कुरकावली गांव के पास पुलिस ने उनका डीजे जबरन रोक दिया। इसी दौरान एक कांवड़िया हिमांशु गिरकर घायल हो गया। उन्होंने बताया कि किसी तरह कांवड़ को खंडित होने से बचाया और संभल पहुंचकर जलाभिषेक किया गया।
सरथल पुलिस चौकी व सूर्यकुंड मंदिर पर हंगामा
घटना के बाद गुस्साए कांवड़ियों ने सरथल पुलिस चौकी और सूर्यकुंड मंदिर के गेट पर प्रदर्शन किया। इसके अलावा कांवड़िये जनता पेट्रोल पंप के सामने सड़क पर बैठकर जाम लगाने की कोशिश करने लगे। सूचना मिलने पर भाजपा के पश्चिमी क्षेत्रीय उपाध्यक्ष राजेश सिंघल भी मौके पर पहुंचे और कांवड़ियों को शांत करने का प्रयास किया।
प्रशासनिक अमला मौके पर पहुंचा, घायल को भेजा अस्पताल
घटना की जानकारी मिलने पर एएसपी उत्तरी राजेश कुमार श्रीवास्तव, एसडीएम विकास चंद्र, सीओ संभल आलोक भाटी और सीओ असमोली कुलदीप सिंह मौके पर पहुंचे। घायल कांवड़िये हिमांशु को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया। अधिकारियों ने मौके पर पहुंचकर कांवड़ियों की समस्याएं सुनीं और स्थिति को संभाला।
कांवड़ियों ने गाइडलाइन न बताने का लगाया आरोप
कांवड़िये शोभित ने बताया कि सरथल चौकी पर पूछने पर कोई स्पष्ट गाइडलाइन नहीं बताई गई थी। उन्होंने कहा कि गूगल पर सर्च करने के बाद पता चला कि डीजे 10×12 साइज का ले जाना अनुमत है। यदि गाइडलाइन में स्पीकर की संख्या सीमित थी तो प्रशासन को पहले से जानकारी देनी चाहिए थी।
हाथ जोड़कर भी विनती की, फिर भी नहीं आने दिया डीजे: अमन
एक अन्य कांवड़िया अमन कुमार ने आरोप लगाया कि उन्होंने विनती की थी कि डीजे को आगे बढ़ने दिया जाए, लेकिन पुलिस ने डीजे को संभल तक नहीं पहुंचने दिया। कांवड़ यात्रा में बाधा डालने की निंदा करते हुए अमन ने कहा कि पुलिस ने हमारी कांवड़ को खंडित करने की कोशिश की।
प्रशासन की सफाई – डीजे नहीं रोका गया, समझाकर शांत किया गया
एएसपी उत्तरी राजेश कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि डीजे रोके जाने की बात गलत है। कांवड़ियों को केवल गाइडलाइन समझाने के लिए रोका गया था। हंगामा कर रहे लोगों को शांत कर दिया गया है।
भाजपा नेता ने भी जताई चिंता
भाजपा के पश्चिमी क्षेत्रीय उपाध्यक्ष राजेश सिंघल ने कहा कि प्रशासन ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए हैं लेकिन कांवड़ियों के सम्मान का भी ध्यान रखना चाहिए। डीजे रोकने की घटना से आक्रोश पनपा जिसे बाद में शांत किया गया।