केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इंजनों और डिब्बों में सीसीटीवी कैमरे लगाने की प्रगति की समीक्षा की। रेलवे अधिकारियों ने बताया कि उत्तर रेलवे के लोको इंजन और डिब्बों में सफल परीक्षण किए जा चुके हैं। केंद्रीय रेल मंत्री ने सभी 74,000 डिब्बों और 15,000 इंजनों में सीसीटीवी कैमरे लगाने की अनुमति दे दी है। प्रत्येक रेलवे डिब्बे में 4 डोम सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे। डिब्बों के प्रत्येक प्रवेश मार्ग पर 2 और प्रत्येक लोकोमोटिव में 6 सीसीटीवी कैमरे होंगे। इनमें लोकोमोटिव के आगे, पीछे और दोनों तरफ 1-1 कैमरा शामिल होंगे। प्रत्येक कैब (आगे और पीछे) में 1 डोम सीसीटीवी कैमरा और डेस्क पर 2 माइक्रोफोन लगाए जाएंगे।
आधुनिक समस्याओं के लिए आधुनिक निगरानी
अधिकारियों ने बताया कि सीसीटीवी कैमरे नवीनतम मानकों वाले होंगे और एसटीक्यूसी प्रमाणित होंगे। केंद्रीय रेल मंत्री ने सर्वश्रेष्ठ उपकरणों को इस्तेमाल करने पर जोर दिया। केंद्रीय रेल मंत्री ने अधिकारियों को इंडियाएआई मिशन के सहयोग से सीसीटीवी कैमरों के लिए गए डेटा पर एआई के उपयोग का पता लगाने के लिए प्रोत्साहित किया।
डेटा गोपनीयता मूल में
डिब्बों के सामान्य आवागमन क्षेत्रों में कैमरे लगाने का उद्देश्य यात्रियों की सुरक्षा और संरक्षा में सुधार लाना है। निजता का ध्यान रखते हुए ये कैमरे शरारती तत्वों की पहचान करने में मदद करेंगे। भारतीय रेलवे के आधुनिकीकरण के प्रयास, सुरक्षित, संरक्षित और यात्री-अनुकूल यात्रा अनुभव के प्रति उसकी प्रतिबद्धता को दर्शाते हैं।