इसपर सीएम सिद्धारमैया ने आपत्ति जताई है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार से चर्चा किए बिना प्रदेश में कोई भी कार्यक्रम आयोजित करना सरासर मनमानी है।
सिद्धारमैया बोले- राज्य सरकार ने नहीं ली गई सलाह
सीएम सिद्धारमैया ने पीएम को अपने पत्र में कहा कि राज्य सरकार से परामर्श किए बिना राज्य में कोई भी कार्यक्रम आयोजित करना, इसके साथ उप-मुख्यमंत्री, विधानसभा अध्यक्ष और विधान परिषद के अध्यक्ष के नामों से पहले पूर्व सीएम का नाम छापकर कार्यक्रम में निमंत्रण देना और उसे आयोजित करना, सरासर प्रोटोकॉल का उल्लंघन करना है।मुख्यमंत्री बोले- कार्यक्रम स्थगित करने का किया था अनुरोध
कार्यक्रम का विवरण देते हुए, मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा कि सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय द्वारा 14 जुलाई को शिवमोग्गा जिले में 2,000 करोड़ रुपये से अधिक के निवेश से 88 किलोमीटर लंबी 9 राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं के लोकार्पण का शिलान्यास समारोह आयोजित किया गया था।सीएम बोले- जल्दबाजी में नहीं करना चाहिए था कार्यक्रम
सीएम ने आगे कहा कि इस परियोजना से संबंधित काम अभी पूरे नहीं हुए हैं, इसलिए कार्यक्रम को जल्दबाजी में आयोजित नहीं किया जाना चाहिए था। वहीं, दूसरी ओर, सिद्धारमैया द्वारा सिगंदूर केबल ब्रिज परियोजना के उद्घाटन के निमंत्रण में केंद्र द्वारा उपेक्षा किए जाने पर उठाई गई आपत्तियों पर केंद्र ने जवाब भी दिया।केंद्र सरकार ने आपत्ति पर दिया जवाब
केंद्र सरकार ने कहा कि मुख्यमंत्री को 11 जून को कार्यक्रम में आमंत्रित किया गया था और उनसे कार्यक्रम की अध्यक्षता करने का अनुरोध भी किया गया था।केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने सोमवार को सोशल मीडिया पर कहा कि क्षेत्रीय संपर्क को बढ़ावा देने की दिशा में एक बड़ा कदम उठाया गया है। सोमवार को कर्नाटक के शिवमोग्गा में कई प्रमुख प्रोजेक्ट्स का उद्घाटन और शिलान्यास समारोह आयोजित किया जा रहा है।