scriptबिजली विभाग में 12 साल से नौकरी कर रहे थे 2 अधिकारी, लगाए थे ये फर्जी डॉक्यूमेंट्स | Fraud of two officers who have been working in the electricity distribution company for years has come to light | Patrika News
जबलपुर

बिजली विभाग में 12 साल से नौकरी कर रहे थे 2 अधिकारी, लगाए थे ये फर्जी डॉक्यूमेंट्स

MP News: मामले में हाल ही में कंपनी ने पिछड़ा वर्ग आयोग को भी पत्र लिखा है। पत्र के माध्यम से विभिन्न जानकारियां मांगी गई है।

जबलपुरJul 18, 2025 / 10:53 am

Astha Awasthi

फोटो सोर्स: पत्रिका

फोटो सोर्स: पत्रिका

MP News: मध्य प्रदेश पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कम्पनी में सालों से नौकरी कर रहे दो अधिकारियों का फर्जीवाड़ा सामने आया है। दोनों ने फर्जी जाति प्रमाणपत्र के आधार पर नौकरी हथियाई। करीब 12-13 साल नौकरी करते हुए लाखों रुपए वेतन के रूप में प्राप्त किए। कंपनी ने दोनों के जाति प्रमाण पत्रों की जांच कराई तो फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ। मामले में एक को निलंबित कर दिया गया है, वहीं दोनों के खिलाफ जांचजारी है।

पिछड़ा वर्ग को लिखा पत्र

विनोद के प्रमाणपत्र के मामले में हाल ही में कंपनी ने पिछड़ा वर्ग आयोग को भी पत्र लिखा है। पत्र के माध्यम से विभिन्न जानकारियां मांगी गई है। यह जानकारी आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। वहीं अमित को शोकॉज नोटिस जारी किया गया, लेकिन अमित अब तक ऐसा कोई तथ्य पेश नहीं कर पाया, जिससे यह साबित हो सके कि उसका जाति प्रमाणपत्र सही है।

एक निलंबित, दूसरे की जांच

केस-1

नाम – अमित केवट
पद- सहायक अभियंता (वितरण)
नौकरी – 02 नवम्बर 2011

अनुसूचित जनजाति का प्रमाण पत्र- अमित का जाति प्रमाण पत्र कार्यपालिक दण्डाधिकारी जबलपुर से जारी किया गया था। उसमें जाति मांझी थी। जो अनुसूचित जनजाति में आती है।
दायर पंजी से गायब- वितरण कम्पनी ने जाति प्रमाणपत्र का सत्यापन कराया तो खुलासा हुआ कि अमित ने जो प्रमाण पत्र कम्पनी में जमा किया है, यह प्रकरण वहां की दायर पंजी में दर्ज ही नहीं है।
कार्रवाई- निलंबित

केस-2

नाम- विनोद सिंह राजपूत
पद- लेखाधिकारी
नौकरी -17 मार्च 2012

पिछड़ा वर्ग का प्रमाण पत्र-विनोद सिंह का जाति प्रमाण पत्र अनुविभागीय अधिकारी कार्यालय ग्वालियर से जारी किया गया था। उसमें जाति किरार थी। जो पिछड़ा वर्ग में आती है।
दायर पंजी से गायब जांच में सामने आया कि विनोद ने जो प्रमाणपत्र जमा किया है, वह अनुविभागीय अधिकारी के यहां राजस्व पंजी में है ही नहीं।

कार्रवाई- जांच जारी

कार्रवाई की जाएगी

सहायक अभियंता अमित केवट और लेखाधिकारी विनोद सिंह राजपूत ने नौकरी के लिए फर्जी जाति प्रमाण पत्रों का उपयोग किया। इसकी जांच सम्बंधित जिले से कराई गई। फर्जीवाड़ा सामने आने पर अमित को निलंबित कर दिया गया है। जांच की जा रही है। जांच में जो भी तथ्य आएंगे, उनके अनुरूप आगे की कार्रवाई की जाएगी। नीता राठौर, मुख्य महाप्रबंधक, मप्रपूक्षेविविकंलि

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