scriptक्या सीकर मास्टर प्लान की सुलझेगी समस्या? 2 दिन और विरोध दर्ज करवा सकेंगे ग्रामीण, ऐसे होगा समाधान | problem of Sikar Master Plan be solved Villagers continue to register their protest | Patrika News
सीकर

क्या सीकर मास्टर प्लान की सुलझेगी समस्या? 2 दिन और विरोध दर्ज करवा सकेंगे ग्रामीण, ऐसे होगा समाधान

मास्टर प्लान को धरातल पर आने में लगभग तीन महीने का समय और लग सकता है।

सीकरJul 23, 2025 / 02:37 pm

Lokendra Sainger

sikar master plan

Photo- Patrika Network (नए मास्टर प्लान के विरोध में नगर परिषद कार्यालय में आपत्ति दर्ज करवाने आए लोग)

सीकर में पिछले एक महीने से सियासी मुद्दा बने मास्टर प्लान पर मंगलवार तक ढ़ाई हजार से अधिक शिकायत दर्ज हो गई है। अब दो दिन और शहरवासी मास्टर प्लान को लेकर आपत्ति दर्ज करा सकेंगे। इसके बाद आपत्तियों के समाधान के लिए कमेटी का गठन होगा। सबसे ज्यादा आपत्ति बाइपास इलाके के गांव-ढाणियों के लोगों की ओर से दर्ज कराई है।
इस मामले में एक्सपर्ट का कहना है कि मास्टर प्लान को धरातल पर आने में लगभग तीन महीने का समय और लग सकता है। हालांकि इस बार मास्टर प्लान पर काफी तादाद में आपत्तियां दर्ज करवाई जा रही है। इधर, अब मास्टर प्लान को लेकर दो दिन और आपत्ति दर्ज हो सकेगी। नगर परिषद आयुक्त शशिकांत शर्मा ने बताया कि कोई भी व्यक्ति 24 जुलाई तक कार्यालय समय में आपत्ति दर्ज करा सकता है।

विपक्ष के साथ खुद सत्ता पक्ष के लोग भी विरोध में

शिक्षानगरी के मास्टर प्लान को लेकर विरोध व्यापक रूप लेता जा रहा है। नए मास्टर प्लान के विरोध को लेकर अब तक जिला मुयालय पर 21 से ज्यादा प्रदर्शन हुए। इसमें विपक्षी दलों के साथ खुद सत्ता पक्ष के कई प्रमुख लोगों ने खुलकर मास्टर प्लान का विरोध किया है। इसको लेकर सरकार भी चिंतित नजर आ रही है।

माकपा का जिला स्तरीय प्रदर्शन 25 को

माकपा की ओर से मास्टर प्लान के विरोध में 25 जुलाई को जिला मुयालय पर प्रदर्शन किया जाएगा। माकपा जिला सचिव पूर्व विधायक पेमाराम ने बताया कि भाजपा की ओर से मास्टर प्लान के जरिए लोगों को ठगने का काम किया जा रहा है। ऐसे सीकर के लोग किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं करेंगे। उन्होंने बताया कि चहेतों को फायदा पहुंचाने के लिए मास्टर प्लान में जान बूझकर गड़बड़ी की गई है। इसका पुरजोर तरीके से विरोध किया जाएगा।

जयपुर रोड व सबलपुरा के लोगों ने दर्ज कराई शिकायत

नगर परिषद कार्यालय में मंगलवार को भी मास्टर प्लान को लेकर कई शिकायत दर्ज हुई है। सबलपुरा के ग्रामीणों ने मास्टर प्लान के प्रस्तावित भू-उपयोग पर सवाल उठाए। इस दौरान एडवोकेट मुकुल शर्मा, जितेंद्र शर्मा, विक्की शर्मा, हनुमान प्रसाद दाधिच, नारायण दाधीच, हरकचंद शर्मा आदि ने नगर परिषद आयुक्त को पीड़ा बताई। वहीं जयपुर रोड इलाके के व्यापारियों ने भी मास्टर प्लान को लेकर आपत्ति दर्ज कराई।

मंत्री का दावा: नहीं होगा अन्याय, हर शिकायत का सत्यापन

सीकर में लगातार बढ़ती मास्टर प्लान के विरोध की गूंज स्वायत्त शासन विभाग के मुखिया यूडीएच मंत्री झाबर सिंह खर्रा तक भी पहुंची। उन्होंने पिछले दिनों में भाजपा के समान समारोह में कहा कि गरीब परिवारों के साथ किसी भी सूरत में अन्नाय नहीं होने दिया जाएगा। उन्होंने दावा किया था कि हर शिकायत का भौतिक सत्यापन भी करवाया जाएगा।

टॉपिक एक्सपर्ट: पुराने सर्वे के कारण दिक्कत

सीकर के मास्टर प्लान के लिए सर्वे करीब तीन साल पहले हुआ था। इसके बाद मास्टर प्लान आचार संहिता व परीक्षण की वजह से अटका रहा। इस बीच शिक्षानगरी के बाहरी क्षेत्रों में हालात पूरी तरह बदल गए। कई जगह बिना सोचे-समझे निजी खातेदारी की जमीन में पार्क या सुविधा क्षेत्र बना दिए गए हैं। इस वजह से मास्टर प्लान के प्रारूप को लेकर लोगों की काफी नाराजगी भी सामने आई है।
मदनलाल ढाका, भवन निर्माण मामले के जानकार

ऐसे होगा अब शिकायतों का समाधान….

मास्टर प्लान के प्रारूप प्रकाशन के बाद ऐसे लोगों ने भी आपत्ति दर्ज कराई है कि जिसमें खुद यूआइटी, नगर परिषद, हाउसिंग बोर्ड के पट्टे है। ऐसे शिकायतों का भौतिक सत्यापन कराया जाएगा। वहीं कई लोगों को आवंटित जमीन का भी भू-उपयोग बदल गया है। इस तरह की शिकायतों पहले चरण में समाधान होगा।

विभिन्न मार्ग की चौड़ाई

पिपराली रोड इलाके में कई नए मार्ग का इलाके के किसानों की ओर से विरोध किया जा रहा है। इस जोन में भी कुछ बदलाव करने की मांग लोगों की ओर से की जा रही है। लोगों का कहना है कि सर्वे के जरिए ही राहत मिल सकती है।

सुविधा क्षेत्र व सरकारी कार्यालयों के लिए जमीन

कई जोन में सरकारी कार्यालय होने के बाद भी निजी खातेदारों की जमीन में सुविधा क्षेत्र व सरकारी कार्यालयों के लिए जमीन तय कर दी है। जबकि उस जोन में ही सरकारी जमीन भी है। मामले से जुड़े एक्सपर्ट ने बताया कि ऐसे में इस तरह के मामले से जुड़ी कुछ शिकायतों में समाधान के विकल्प तलाशे जाएंगे।

आगे क्या: लगभग तीन महीने में होगा शिकायतों का निपटारा

यदि विभाग की ओर से मास्टर प्लान के प्रारूप पर दर्ज शिकायतों का भौतिक सत्यापन सहित अन्य तरीकों से निस्तारण किया जाता है तो लगभग तीन महीने का समय लग सकता है। ऐसे में नवबर महीने तक मास्टर प्लान का फाइनल प्रकाशन कर दिया जाएगा।

Hindi News / Sikar / क्या सीकर मास्टर प्लान की सुलझेगी समस्या? 2 दिन और विरोध दर्ज करवा सकेंगे ग्रामीण, ऐसे होगा समाधान

ट्रेंडिंग वीडियो